आकांक्षा को भी मिले 720 में से 720 मार्क्स, फिर शोएब कैसे चुने गए टॉपर?
Department
National Testing Agency NTA
Short Description of the post
National Testing Agency NTA Are Released Results for the Admission for MBBS / BDS Through NEET 2020. Those Candidate Are Appeared in the Written Exam Can Check Result with Score Card.
दिल्ली की आकांक्षा सिंह ने भी NEET 2020 परीक्षा में टॉप किया है और उनके भी 720 में से 720 नंबर आए हैं, यानी परफेक्ट स्कोर. हालांकि आकांक्षा की ऑल इंडिया रैंक 2 है.
ओडिसा के शोएब आफताब ने पूरे 720 में से 720 नंबर हासिल करते हुए NEET 2020 परीक्षा में टॉप किया है और उनकी पूरी भारत में पहली रैंक है. दिल्ली की आकांक्षा सिंह ने भी NEET 2020 परीक्षा में टॉप किया है और उनके भी 720 में से 720 नंबर आए हैं, यानी परफेक्ट स्कोर. हालांकि आकांक्षा की ऑल इंडिया रैंक 2 है. NTA के मुताबिक टाई ब्रैक होने के कारण उन्होंने उम्र के बीच का अंतर देखा और इसी आधार पर शोएब को ऑल इंडिया रैंक 1 दी गई है.
टी स्निकिता, विनीत शर्मा और अमृशा खैतान ने NEET 2020 में 715 नंबर प्राप्त किए हैं और उम्र के बीच के अंतर वाले कारण से ही इन्हें ऑल इंडिया रैंक 3,4,5 और 6 दी गई है, जबकि इन सभी के नंबर एक जितने ही हैं.
क्या है NEET का टाई ब्रेकिंग फॉर्मूला
अगर दो या उससे ज्यादा छात्रों के NEET परीक्षा में एक समान नंबर आते हैं, तब जिस छात्र के बायोलॉजी यानी जीवविज्ञान (वनस्पति विज्ञान और जूलॉजी) में ज्यादा नंबर होंगे, उसे रैंकिंग में वरियता दी जाएगीय
अगर बायोलॉजी के नंबर में भी समानता है तो उस छात्र को रैंकिंग में वरीयता दी जाएगी, जिसके रसायन विज्ञान (कैमिस्ट्री) में ज्यादा नंबर होंगे.
बायोलॉजी और कैमिस्ट्री में भी अगर एक जैसे नंबर हैं तब उस छात्र को रैंकिंग में वरीयता दी जाएगी, जिसने NEET के सभी विषयों में सबसे कम गलत जवाब दिए होंगे.
अगर छात्रों के गलत जवाबों की संख्या भी समान होगी, तब आखिर में जिस छात्र की उम्र ज्यादा होगी उसे वरीयता दी जाएगी.
क्या है NEET का टाई ब्रेकिंग फॉर्मूला
अधिकारियों ने बताया कि टाईब्रेकर नीति में उम्र, विषयों में अंक और गलत उत्तर को संज्ञान में लिया जाता है। उन्होंने बताया कि शोएब और आकांक्षा को बराबर अंक मिले थे इसलिए उम्र के आधार पर रैंकिंग तय की गई।
अधिकारी ने कहा कि समान अंक होने पर पहले रसायन विज्ञान और फिर जीव विज्ञान के अंकों से तुलना की जाती है। अगर दोनों विषयों में समान अंक होते हैं तो परीक्षा में गलत उत्तर पर विचार किया जाता है। यहां पर भी फैसला नहीं होने पर उम्र को आधार बनाया जाता है।
उन्होंने बताया कि इसी नीति को तूम्मला स्निकिथा (तेलंगाना), विनीत शर्मा (राजस्थान), अमरिशा खैतान (हरियाणा) और गुत्थी चैतन्य सिंधू (आंध्रप्रदेश) की रैंकिंग तय करने के लिए इस्तेमाल किया गया जिन्हें 720 में से 715 अंक मिले हैं एवं टाईब्रेकर के जरिए क्रमश: तीसरी, चौथी, पांचवीं और छठी रैंकिंग प्रदान की गई है,
शोएब आफताब ने बातचीत में कहा कि मैं अपनी सफलता का श्रेय अपनी मां को देता हूं, जो हमेशा मुझे डॉक्टर बनने के लिए प्रेरित करती हैं और मेरे साथ खड़ी रहती हैं। उल्लेखनीय है कि शोएब की मां सुल्ताना रजिया गृहिणी हैं जबकि पिता शेख मोहम्मद अब्बास का छोटा-सा कारोबार है।
“मुहिम इनसे मिलिए, इनसे जानिए” मोटिवेशनल और गाइडेंस प्रोग्राम – में आज हम आपकी मुलाकात करवा रहे हैं एलन और सर्वोदय स्कूल कोटा के होनहार स्टूडेंट जनाब शोएब अफताब से… अपनी मेहनत, लगन और जुनून से NEET 2020 एग्जाम में अॉल इंडिया में टॉपर और NEET/PMT के इतिहास में पहली बार 720 मार्क्स में से 720 मार्क्स हासिल किए…. आज आपको अपनी कामयाबी की कहानी शेयर करेगे….(Share & Subscribe) क्लिक करे 👇🏻
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