You are currently viewing Prime Minister Bravery Award Given To Children In Delhi – Amar Ujala Hindi News Live – प्रधानमंत्री वीरता पुरस्कार:दिल्ली में बच्चों को किया गया सम्मानित, सुहानी बोलीं

Prime Minister Bravery Award given to children in Delhi

राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार
– फोटो : अमर उजाला

विस्तार


प्रधानमंत्री वीरता पुरस्कार पाने वाले बच्चे दिल्ली पहुंचने लगे हैं। अगले दस दिन तक वे राजधानी में ही रहेंगे। पुरस्कार पाने वाली दिल्ली की सुहानी चौहान ने नवाचार में देश के अन्नदाताओं के लिए खेती को आसान करने के लिए सौर ऊर्जा से चलने वाला कृषि वाहन एसओएपीटी विकसित किया है। दक्षिण दिल्ली में रहने वाली सुहानी का यह वाहन पूरी तरह से सौर ऊर्जा से चलेगा। इससे डीजल पर खर्च होने वाले 18 सौ करोड़ बचाए जा सकते हैं। इसके इस्तेमाल से हर साल 84 करोड़ के कार्बन क्रेडिट को बचाया जा सकेगा। इस वाहन की सराहना देश ही नहीं, विदेश में भी हुई है। 

उन्होंने इसका प्रमाणन और पेटेंट भी हासिल किया है। 11वीं की छात्रा सुहानी ने अमर उजाला को बताया कि किसानों की कठिनाई को देखकर कक्षा आठ से ही वह इस वाहन को बनाना शुरू किया था। इसमें उन्हें अभिभावकों के साथ स्कूल का भी समर्थन मिला। सुहानी के अनुसार उनकी यह खोज आत्मनिर्भर भारत की उम्मीद की जीत है, जिसमें हर कोई अपना योगदान सुनिश्चित करना चाहता है।

आदित्य खेल और समाज के लिए एक शक्तिशाली उदाहरण करना चाहती है स्थापित

उत्तर प्रदेश के गोरखपुर की 12 साल की आदित्य यादव एक विशेष रूप से सक्षम बैडमिंटन खिलाड़ी हैं। कौशल, अथक प्रयासों से उन्होंने दिव्यांगता को धता बता दिया है। देश ही नहीं विदेश में भी उन्होंने भारत का नाम बुलंद किया है। उपलब्धियों की बात करें तो विश्व बैडमिंटन प्रतियोगिता में कई पदक जीते हैं। विश्व युवा बधिर चैम्पियनशिप और ब्राजील में छठी विश्व बधिर चैंपियनशिप 24वें डिफलिम्पिक्स में एकल और युगल स्पर्धाओं और टीम स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीता है। 

सात साल की अनुष्का कथा वाचन में हैं दक्ष

कथा वाचन कौशल में दक्षता रखने वाली सात साल की अनुष्का को कला और संस्कृति के क्षेत्र में पुरस्कृत किया जाएगा। वह चार साल की आयु से कथा वाचन कर रही हैं। वह  कुशीनगर, यूपी से आती हैं। पिता डॉक्टर वी के पाठ के सानिध्य में जो उनके एक आध्यात्मिक गुरु और उनके पथ प्रदर्शक रहे हैं।

नदी में डूबते चचेरे भाई को बचाते वक्त जान गंवाने वाले आदित्य को सलाम

आदित्य विजय ब्रह्माणे जिन्हें मरणोपरांत वीरता के लिए पुरस्कृत किया जाएगा। उन्होंने अपने चचेरे भाई हर्ष और श्लोक को नदी में डूबने से बचाने में अपनी जान गंवा दी। यह हादसा उस समय हुआ जब तीनों नदी किनारे खेल रहे थे। 

दरअसल, तीनों लड़के ठीक से तैरना नहीं जानते थे, नदी में तैरने के लिए उतरे लेकिन ढलान के कारण पानी की गहराई का अंदाजा नहीं लगा पाए और डूबने लगे। आदित्य अपने चचेरे भाई श्लोक को खींचने में कामयाब रहे, इसके बाद दूसरे भाई हर्ष को बचाने के लिए दौड़े। हर्ष को बचाने की जल्दबाजी में आदित्य गहरे पानी में चला गए। दुर्भाग्य से वह डूब गए। उनका पता लगाना मुश्किल हो गया। उनके अभिभावक इस पुरस्कार को प्राप्त करने के लिए उपस्थित होंगे।

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